
उत्तराखंड के उच्च हिमालयी क्षेत्रों में मौसम करवट बदलने लगा है। जिसके चलते चारों धामों की आस.पास की पहाड़ियों बर्फबारी शुरू हो गई है। बर्फबारी के बाद बदरीनाथ, केदारनाथ सहित पूरे उत्तराखंड में कड़ाके की ठंड पड़ने लगी है। इस बीच बदरीनाथ में सीजन की पहली बर्फबारी हुई है, जबकि केदारनाथ में दूसरी बार बर्फ गिरी है।
बर्फबारी के बाद बदरीनाथ में ठंड बहुत बढ़ गई है। रात में तो बाबा बद्री विशाल के दरबार में तापमान शून्य से नीचे पहुंच रहा है। हाड़ कंपाने वाली ठंड से बद्री विशाल में रह रहे लोगों तीर्थ पुरोहितोंएव्यापारियों और श्रद्धालुओं को कई दिक्कतों का सामान भी करना पड़ रहा है। लेकिन पर्यटकों की बढ़ती संख्या से चारा धाम में व्यापार करने वाले व्यापारियों के चेरहों पर रौनक जरूर आ गई है।
बदरीनाथ धाम में लगातार हो रही बर्फबारी से तापमान जीरो डिग्री से नीचे पहुंच गया है। ऐसे में तीर्थ पुरोहितों को इस ठंड से लड़ने के लिए हंस फाउंडेशन के संस्थापक माता मंगला जी एवं श्री भोले जी महाराज ने ट्रेक सूट, कंबल और शॉल भेंट स्वरूप पहुंचाए है।
इस भेंट के लिए आभार प्रकट करते हुए बदरीनाथ धाम के तीर्थ पुरोहितों ने माताश्री मंगला जी एवं श्री भोले जी महाराज जी का कोटि.कोटि आभार व्यक्त करते हुए कहां कि उत्तराखंड में धीरे.धीरे ठंड का प्रकोप बढ़ता जा रहा है। उत्तराखंड के चारों धामों की ऊंची पहाड़ियों में बर्फबारी शुरू हो गई है। जिसके चलते इन धामों में हाड़ कंपाने वाली ठंड पड़ रही है। ऐसे में बाबा बद्री विशाल के दरबार में हमारे साथ छोटा.छोटा व्यवस्या कर अपना जीवन यापन कर रहे छोटे.छोटे व्यापारी और उनके सहयोगियों को इस कड़ाके की ठंड से बचने के लिए हंस फाउंडेशन ने यह भागीरथी सहोयग किया है।
तीर्थ पुरोहित ने कहां की इस कड़ाके की ठंड से बचने के लिए हमें ट्रेक कसूटएकंबलएशॉलएमास्क और सेनेटाइजर प्रदान कर माताश्री मंगला जी एवं श्री भोले जी महाराज जी ने हम सब को जो आशीर्वाद दिया है। वह निश्चित तौर पर हमारे लिए किसी वरदान से कम नहीं है। क्योंकि इस बार कोराना वायरस संक्रमण के चलते चारा धाम यात्रा पर बहुत प्रभाव पड़ा। लेकिन अब अंतिम दौर में चारा धाम यात्रा पीक पर है। ऐसे में यहां पहुंच रहे श्रद्धालुओं के लिए पूजा.पाठ करना उन्हें दर्शन करवानाएवह भी इस हाड़ कंपा देने वाली ठंड मेंएनिश्चित तौर पर यह बहुत मुश्किल दौर है। लेकिन माता मगंला जी एवं श्री भोले जी महाराज जी ने इस मुश्किल समय में तीर्थ पुरोहितों और बदरीनाथ धाम से जुड़े तमाम सेवकों को यह भेंट पहुंचा कर हमारे सेवा कार्यों में तो सहयोग किया ही हैंएसाथ ही हमें अपने सेवाओं को विस्तार करने का अवसर भी प्रदान किया है। हम बाबा केदार और बाबा बद्री विशाल जी से माता मंगला जी एवं श्री भोले जी महाराज के स्वस्थ और दीर्घायु जीवन की कामना करते हैं
आपको बता दें की हंस फाउंडेशन की संस्थापक माताश्री मंगला जी का जन्मोत्सव पर पिछले माह देशभर में ष्सेवा भी सम्मान भीष् की परिकल्पना के साथ मानया गया। इस मौके पर हंस फाउंडेशन ने उत्तराखंड में तामम परियोजनाओं के लिए 105 करोड़ रुपये की राशि प्रदान की जिसका शुभारंभ मुख्यमंत्री त्रिवेंद सिंह रावत ने किया।
इन योजनाओं में श्हंस जल धारा के तहत लगभग 200 गांव में शुद्ध पेयजल पहुंचाने की योजना प्रमुख है। जिसकी लागत लगभग 50 करोड़ रुपये है। इस योजना को उत्तराखंड में दो से तीन साल में पूरा किया जाना है।
कोविड.19 संक्रमण के चलते बड़ी संख्या में प्रवासी उत्तराखंडी पहाड़ लौटे है। इन लोगों के लिए हंस फाउंडेशन द्वारा 25 करोड़ रुपये की राशि प्रदान कीए जिसके माध्यम से पहाड़ लौटे प्रवासियों को स्वरोजगार उपलब्ध करवाने में मदद की जाएगी। इसी के साथ राज्य में लगभग 200 गांव में आंगनबाड़ी केंद्रों का निर्माण किया जाना है। जिनकी लागत लगभग 30 करोड़ रुपये है।
इसी के साथ उत्तराखंड के चार धाम सहित, देश भर के देवालयों में माता मंगला जी के जन्मोत्सव पर तीर्थ पुरोहितों, सेवकों, गरीब एवं जरूरतमंद लोगों को कंबल, शॉल, ट्रेक सूट, मास्क और सेनेटाइजर प्रदान किया गया।