रिपोर्ट- सत्यपाल नेगी
रुद्रप्रयाग: पुलिस मुख्यालय की अपेक्षा के क्रम में जनपद की यातायात व्यवस्था सुदृढ़ किये जाने हेतु सड़कों पर आवारा घूमने वाले पशुओं पर नियंत्रण लगाये जाने हेतु जनपद में01 फरवरी 2023 से ऑपरेशन कामधेनु के अन्तर्गत 02 माह का अभियान प्रचलित है।
पुलिस अधीक्षक रुद्रप्रयाग के निर्देशन में आज नोडल अधिकारी पुलिस उपाधीक्षक ऑपरेशन्स/यातायात हर्षवर्द्धनी सुमन की अध्यक्षता में इस अभियान को सफल बनाये जाने हेतु अन्य स्टेकहोल्डर्स/विभागीय अधिकारियों के साथ समन्वय गोष्ठी आयोजित की गयी।
वहीं गोष्ठी मे पुलिस उपाधीक्षक ऑपरेशन्स/यातायात द्वारा उपस्थित प्रतिभागियों का स्वागत करते हुए आयोजित हो रही गोष्ठी के बारे में जानकारी दी गयी कि आवारा व निराश्रित पशुओं की वजह से जनपद के सभी मुख्य कस्बों की यातायात व्यवस्था प्रभावित हो रही है।अक्सर आप सभी के द्वारा देखा गया होगा कि बाजारों में घूम रहे पशुओं के कारण आम जनमानस को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ता है।इस हेतु उत्तराखण्ड पुलिस मुख्यालय की अपेक्षा के क्रम में जनपद में ऑपरेशन कामधेनु के नाम से 02 माह का एक अभियान चलाया जा रहा है,जिसका मुख्य उद्देश्य यही है कि कस्बों,बाजार में निराश्रित व असहाय घूम रहे पशुओं को हटाकर उनका किसी उचित स्थान पर पुर्नवास किया जाये।चूंकि जनपद में पशुओं के रखने हेतु अलग सा स्थान या कांजी हाउस नहीं है,और इसी बिन्दु पर चर्चा किये जाने हेतु सभी को आमंत्रित किया गया है।
इस अभियान की भूमिका बताते हुए पुलिस उपाधीक्षक द्वारा अन्य उपस्थित विभागीय अधिकारियों से भी अपेक्षित सहयोग की अपेक्षा रखते हुए सुझाव लिए गये।अजय सेमवाल मनोनीत सचिव पशु क्रूरता रुद्रप्रयाग द्वारा जनपद के आवारा पशुओं को आश्रय दिलाये जाने पर सहमति प्रकट की गयी परन्तु पशुओं की देखभाल करने वालों को मेहनताना व चारापाती की व्यवस्था हेतु धनराशि की व्यवस्था उपलब्ध कराये जाने का अनुरोध किया गया।
बैठक के दौरान यही बात सामने आयी कि जनपद में कहीं पर भी कांजी हाउस की व्यवस्था नहीं है तथा स्थानीय स्तर पर यदि किसी अथवा स्वयंसेवी संस्था के माध्यम से निराश्रित पशुओं के आश्रय की व्यवस्था की जानी हो तो इस हेतु फण्ड की व्यवस्था पर चर्चा हुई।
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अधिशासी अधिकारी नगर पालिका परिषद रुद्रप्रयाग द्वारा अवगत कराया गया कि इस कार्य हेतु उनके पास अलग से कोई फण्ड तो नहीं है परन्तु वे इस सम्बन्ध में अध्यक्ष नगर पालिका परिषद रुद्रप्रयाग के संज्ञान में लाकर अगली बोर्ड की बैठक में इस विषय को चर्चा में लाते हुए सार्थक प्रयास करेंगे।
इसी प्रकार से प्रशासनिक अधिकारी जिला पंचायत रुद्रप्रयाग के द्वारा भी अवगत कराया गया कि उनके यहां भी इस प्रकार के विषयों को बोर्ड की बैठक में लाये जाने के उपरान्त ही उच्च स्तर पर निर्णय लिया जा सकता है।पशुपालन विभाग से उपस्थित पशु चिकित्सक द्वारा अवगत कराया गया कि उनके स्तर से निराश्रित पशुओं की टैगिंग करा दी जायेगी तथा बीमार पशुओं का उचित उपचार भी किया जायेगा।
पुलिस उपाधीक्षक,ऑपरेशन्स द्वारा अवगत कराया गया कि पुलिस विभाग के स्तर से जनपद के सभी थाना प्रभारियों को निर्देश दिये जा चुके हैं कि अपने पशुओं का पंजीकरण न कराना व सड़कों पर आवारा छोड़ना उत्तराखण्ड गौ वंश संरक्षण अधिनियम के तहत दण्डनीय अपराध है,इस सम्बन्ध में पुलिस के स्तर से आम जनमानस को जागरूक किया जा रहा है तथा निकट भविष्य में कानूनी कार्यवाही भी की जायेगी।
पुलिस उपाधीक्षक ऑपरेशन्स द्वारा सभी अधिकारियों से इस अभियान के जन-जागरुकता सहित अपेक्षित सहयोग प्रदान करने का आग्रह किया गया।
इस अवसर पर पुलिस उपाधीक्षक ऑपरेशन्स/यातायात रुद्रप्रयाग हर्षवर्द्धनी सुमन,मनोनीत सचिव पशु क्रूरता रुद्रप्रयाग अजय सेमवाल,अधिशासी अधिकारी नगर पालिका परिषद रुद्रप्रयाग सुशील कुमार,प्रशासनिक अधिकारी जिला पंचायत रुद्रप्रयाग नरेन्द्र सिंह पटवाल,निरीक्षक यातायात रुद्रप्रयाग श्याम लाल,प्रभारी निरीक्षक कोतवाली रुद्रप्रयाग जयपाल सिंह नेगी,यातायात उपनिरीक्षक कमल कुमार,प्रभारी आशुलिपिक नरेन्द्र सिंह उपस्थित रहे।