ADVERTISEMENT
  • About Us
  • Privacy Policy
  • Cookie Policy
  • Terms & Conditions
  • Refund Policy
  • Disclaimer
  • DMCA
  • Contact
Uttarakhand Samachar
  • Home
  • संपादकीय
  • उत्तराखंड
    • अल्मोड़ा
    • उत्तरकाशी
    • उधमसिंह नगर
    • देहरादून
    • चमोली
    • चम्पावत
    • टिहरी
    • नैनीताल
    • पिथौरागढ़
    • पौड़ी गढ़वाल
    • बागेश्वर
    • रुद्रप्रयाग
    • हरिद्वार
  • संस्कृति
  • पर्यटन
    • यात्रा
  • दुनिया
  • वीडियो
    • मनोरंजन
  • साक्षात्कार
  • साहित्य
  • हेल्थ
  • क्राइम
  • जॉब
  • खेल
No Result
View All Result
  • Home
  • संपादकीय
  • उत्तराखंड
    • अल्मोड़ा
    • उत्तरकाशी
    • उधमसिंह नगर
    • देहरादून
    • चमोली
    • चम्पावत
    • टिहरी
    • नैनीताल
    • पिथौरागढ़
    • पौड़ी गढ़वाल
    • बागेश्वर
    • रुद्रप्रयाग
    • हरिद्वार
  • संस्कृति
  • पर्यटन
    • यात्रा
  • दुनिया
  • वीडियो
    • मनोरंजन
  • साक्षात्कार
  • साहित्य
  • हेल्थ
  • क्राइम
  • जॉब
  • खेल
No Result
View All Result
Uttarakhand Samachar
Home उत्तराखंड अल्मोड़ा

प्रखर समाजवादी बिपिन त्रिपाठी

February 23, 2021
in अल्मोड़ा, उत्तराखंड
Reading Time: 1min read
185
VIEWS
Share on FacebookShare on WhatsAppShare on Twitter

डॉ० हरीश चन्द्र अन्डोला
प्रखर समाजवादी उत्तराखंड क्रांति दल शिल्पी, चिंतक एवं पूर्व विधायक स्वण् बिपिन चन्द्र त्रिपाठी को उनकी 78वीं जयंती है। स्व०विपिन त्रिपाठी के आदर्शों और संघर्षों को कभी भुलाया नहीं जा सकता है। वन आंदोलन से लेकर नशा नहीं रोजगार दो। ताड़ीखेत में मजदूरों के आंदोलन को आगे बढ़ाया। इमरजेंसी के दौरान सरकार के खिलाफ अपने पाक्षिक अखबार द्रोणाचल प्रहरी में लिखा, उनके अखबार को सरकार ने प्रतिबंधित करके प्रेस सील कर दी तथा इमरजेंसी के दौरान 24 महीने जेल रहे। उक्रांद के शिल्पी कहे जाने वाले विपिन दा ने राज्य आंदोलन के दौरान कार्यक्रमों को आगे ले गये। उन कार्यक्रमों का बखूबी सफल संचालन किया। उनके ओजस्वी भाषणों को कभी भुलाया नहीं जा सकता है।

विपिन दा ने अपने मूल्यों से कभी समझौता नही किया। दल के मुख्य रणनीतिकार की भूमिका विपिन दा की रहती थी। उन्ही के प्रयासों से द्वाराहाट में इंजीनियरिंग कॉलेज, पालिटेक्निक और आई टी आई बनी । विपिन दा ने 22 वर्ष की उम्र में आंदोलन में कूद गये थे। ताउम्र विपिन दा का संघर्ष अंतिम सांस तक रहा। विपिन चन्द्र त्रिपाठी जी का दिया गया भाषण आज भी उतना ही प्रासंगिक है। वे केवल एक नेता ही नहीं बल्कि दूरदर्शी राजनीतिज्ञ भी थे। उत्तराखंड के थिंक टैंक के नाम से जाने जाने वाले बिपिन चंद्र त्रिपाठी जी के शब्द आज भी हमारा मार्ग दर्शन कर रहें हैं। जिन समस्याओं के समाधान के लिए वे खड़े हुए, वे समस्याएँ उनके जाने के 16 साल बाद भी वैसी ही बनी हुई हैं। बहुत दुर्भाग्यपूर्ण है कि आज भी हमारी शिक्षा बदहाल, पर्यटन बदहाल, स्वास्थ्य व्यवस्था बदहाल, रोजगार बदहाल, सिर्फ पलायन ही बड़ा है। क्योंकि समाधान के लिए अच्छी नीयत, जन समस्याओं का बोध, पहाड़ और पहाड़ियों के लिए प्रेम और इस देवभूमि के लिए समर्पण की आवश्यकता है।

आज जब राजनीति भ्रष्टाचार के दलदल में गोते लगा रही है तो ऐसे में सहसा याद आते हैं। जीवन भर समाज के दबे कुचले और वंचित वर्ग के लिए लडने में विपिन चंद्र त्रिपाठी ने अपने जीवन को समर्पित कर दिया। चाहे वन बचाओ आंदोलन हो या चिपको आंदोलन, चांचरीधार आंदोलन हो या महंगाई के खिलाफ आवाज बुलंद करना हो अथवा उत्तराखंड राज्य आंदोलन की लडाई सभी में हमेशा आगे रहे। बहुआयामी व्यक्तित्व के धनी विपिन चन्द्र त्रिपाठी विपिन दा जल, जंगल, जमीन के संघर्ष को लेकर उन्होंने भूख हड़ताल से लेकर आमरण अनशन तक किया और जेल भी गए। परंतु विपिन चंद्र त्रिपाठी आज भी हमारी स्मृतियों में विद्यमान हैं, श्री त्रिपाठी का जन्म 23 फरवरी 1945 में द्वाराहाट के ग्राम दैरी में हुआ था। उनके पिता मथुरादत्त त्रिपाठी डाक विभाग में कार्यरत थे। उन्होंने अपने जीवन की प्रारंभिक शिक्षा गांव में ही ग्रहण की और इसके बाद वह माध्यमिक शिक्षा के लिए नैनीताल जिले के मुक्तेश्वर चले गए।

उच्च शिक्षा के दौरान ही उनके ऊपर प्रसिद्ध समाजवादी रहे डाण् राम मनोहर लोहिया व आचार्य नरेन्द्र देव के विचारों का प्रभाव पड़ा। इनके विचारों से प्रभावित होकर वह वर्ष 1967 से ही आंदोलन में कूद गये। वर्ष 1972 में प्रजा सोशलिस्ट द्वारा चलाये गये भूमि आंदोलन में भी उनकी सक्रिय भागीदारी रही। तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी के समय महंगाई के विरोध में आवाज बुलंद की। विपिन चंद्र त्रिपाठी ने वन अधिनियम, 1989 में भूमि संरक्षण आंदोलन में सक्रिय भूमिका निभाई। आपातकाल के समय 06 जुलाई 1975 को जेल भी गये। 22 महीने जेल में सजा काटने के बाद बाहर निकले तो जनता पार्टी की सरकार सत्ता हासिल करने जा रही थी। तो उन्होंने युवा शाखा से इस्तीफा दे दिया। इतना ही नहीं वह हमेशा सत्ता सुख से दूर रहे। इसके बाद उन्होंने द्वाराहाट को अपनी कर्मभूमि बना लिया।

उनकी बढती लोकप्रियता ही थी कि वह वर्ष 1989 में द्वाराहाट के ब्लाक प्रमुख बने। इस दौरान उन्होंने द्वाराहाट के लिए अनेक विकासकार्य करवाए। विपिन चंद्र त्रिपाठी का कार्यकाल देख चुके लोग बताते हैं कि ब्लाक प्रमुख होने के बावजूद अधिकारी उनकी ईमानदार और स्वच्छ छवि से घबराते थे। अपने कार्यकाल के दौरान उन्होंने छोटे से कस्बे द्वाराहाट में शासन पर दबाब बनाकर राजकीय इंजीनियरिंग कालेज, राजकीय पॉलिटेक्नीक, राजकीय महाविद्यालय खोलने के अलावा कई विकास कार्य किये। इसके लिए भूख हड़ताल व आमरण अनशन तक किया। वर्ष 1984 में नशा नहीं रोजगार दो अांदोलन में 40 दिन तक जेल रहे। वर्ष 1980 से उत्तराखंड क्रांति दल से जुड़ने के बाद महासचिव से अध्यक्ष पद तक का सफर तय किया। वर्ष 1992 में बागेश्वर में उन्होंने उत्तराखंड का ब्लू प्रिंट तैयार किया। उनके द्वारा तैयार किए इस प्रिंट पर ही पार्टी ने घोषणा पत्र तैयार किया।

श्री त्रिपाठी ने वर्ष 1974 में बारामंडल सीट से पहला चुनाव लड़ा लेकिन अविभाजित उत्तर प्रदेश में बडे भौगोलिक और कई समीकरणों में उलझी सीट पर उन्हें हर बार हार का सामना करना पडा। उत्तराखंड राज्य गठन के बाद द्वाराहाट सीट के अस्तित्व में आने पर राज्य के पहले विधानसभा चुनाव में द्वाराहाट के विधायक बने। उन्होंने अपने विरोधियों को करारी शिकस्त दी। लेकिन सत्ता सुख से दूर रह कर समाज के लिए संघर्ष करने वाले इस महान क्रांतिवीर का उनके जन्म को 76 साल पूरे होने जा रहें हैं। जो क्रांति विपिन चंद्र त्रिपाठी जी और साथियों ने शुरू की थी, उसे हम उदेश्य तक पहुंचाकर उत्तराखंड को, उत्तराखंड के लोगों का उत्तराखंड बनाएं!। लेकिन उनके विचार और उनका जुझारू व्यक्तित्व आज भी समाज के लिए प्रासंगिक है।

ShareSendTweet
Previous Post

स्वास्थ्य शिविर, 188 मरीजों का परीक्षण, हृदय रोग से ग्रसित दो बच्चों का होगा निशुल्क आपरेशन

Next Post

बढ़ती महंगाई, बेरोजगारी के लिए भाजपा सरकार जिम्मेदारः जोशी

Related Posts

उत्तराखंड

गैरसैंण में प्रदर्शनकारियों पर पुलिस लाठीचार्ज

March 1, 2021
218
उत्तराखंड

पौड़ी के सतपुली के मलेठी में वृद्धाश्रम का माताश्री मंगला ने किया लोकार्पण

March 1, 2021
167
उत्तराखंड

उपनल कर्मियों की हड़ताल औचित्यहीनः राज्य सरकार

March 1, 2021
232
उत्तराखंड

तपोवन टनल में 189 मीटर तक हटा मलबा

March 1, 2021
284
उत्तराखंड

मांगल गीतों को अगली पीढ़ी तक सौंपने की पहल

March 1, 2021
187
उत्तराखंड

मुख्यमंत्री ने भराड़ीसैंण में योग निद्रा और हैप्पीनेस इंडेक्स पुस्तक का विमोचन

March 1, 2021
199

Leave a Reply Cancel reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

उत्तराखंड के सुलगते सवाल?

Popular Stories

  • नए साल का जश्न मनाने आए पर्यटक बर्फबारी के बिना निराश लौटे

    0 shares
    Share 0 Tweet 0
  • अब लामबगड़ की बाधा से निजात, नए एलाइनमेंट से बनी सड़क

    0 shares
    Share 0 Tweet 0
  • दुखद : छुट्टी पर घर आए फौजी की मौत, क्या पत्नी ने दिया जहर, पुलिस करेगी जांच

    0 shares
    Share 0 Tweet 0
  • सहायक लेखाकार के 541, सचिवालय सुरक्षा संवर्ग के 33 पदों पर भर्ती के लिए आवेदन आमंत्रित

    0 shares
    Share 0 Tweet 0
  • दुखद : शादी की शॉपिंग करके लौट रही युवती की सड़क हादसे में मौत, 06 मार्च को होनी थी शादी

    0 shares
    Share 0 Tweet 0

Stay Connected

  • 31.2k Fans

संपादक- शंकर सिंह भाटिया

पता- ग्राम एवं पोस्ट आफिस- नागल ज्वालापुर, डोईवाला, जनपद-देहरादून, पिन-248140

फ़ोन- 9837887384

ईमेल- [email protected]

 

Uttarakhand Samachar

उत्तराखंड समाचार डाॅट काम वेबसाइड 2015 से खासकर हिमालय क्षेत्र के समाचारों, सरोकारों को समर्पित एक समाचार पोर्टल है। इस पोर्टल के माध्यम से हम मध्य हिमालय क्षेत्र के गांवों, गाड़, गधेरों, शहरों, कस्बों और पर्यावरण की खबरों पर फोकस करते हैं। हमारी कोशिश है कि आपको इस वंचित क्षेत्र की छिपी हुई सूचनाएं पहुंचा सकें।
संपादक

Browse by Category

  • अल्मोड़ा
  • अवर्गीकृत
  • उत्तरकाशी
  • उत्तराखंड
  • उधमसिंह नगर
  • क्राइम
  • खेल
  • चमोली
  • चम्पावत
  • जॉब
  • टिहरी
  • दुनिया
  • देहरादून
  • नैनीताल
  • पर्यटन
  • पिथौरागढ़
  • पौड़ी गढ़वाल
  • बागेश्वर
  • मनोरंजन
  • यात्रा
  • राजनीति
  • रुद्रप्रयाग
  • वीडियो
  • संपादकीय
  • संस्कृति
  • साक्षात्कार
  • साहित्य
  • हरिद्वार
  • हेल्थ

Recent News

गैरसैंण में प्रदर्शनकारियों पर पुलिस लाठीचार्ज

March 1, 2021

पौड़ी के सतपुली के मलेठी में वृद्धाश्रम का माताश्री मंगला ने किया लोकार्पण

March 1, 2021
  • About Us
  • Privacy Policy
  • Cookie Policy
  • Terms & Conditions
  • Refund Policy
  • Disclaimer
  • DMCA
  • Contact

© 2015-21 Uttarakhand Samachar - All Rights Reserved.

No Result
View All Result
  • Home
  • संपादकीय
  • उत्तराखंड
    • अल्मोड़ा
    • उत्तरकाशी
    • उधमसिंह नगर
    • देहरादून
    • चमोली
    • चम्पावत
    • टिहरी
    • नैनीताल
    • पिथौरागढ़
    • पौड़ी गढ़वाल
    • बागेश्वर
    • रुद्रप्रयाग
    • हरिद्वार
  • संस्कृति
  • पर्यटन
    • यात्रा
  • दुनिया
  • वीडियो
    • मनोरंजन
  • साक्षात्कार
  • साहित्य
  • हेल्थ
  • क्राइम
  • जॉब
  • खेल

© 2015-21 Uttarakhand Samachar - All Rights Reserved.