सत्यपाल नेगी/रुद्रप्रयाग
रुद्रप्रयाग। तल्ला नागपुर क्षेत्र के ग्राम देवलख में ग्रामीणों द्वारा 250 वर्ष पुराने पीपल वृक्ष की विरासत वृक्ष के रूप में पूजा अर्चना कर धार्मिकएपौराणिक व पर्यावरण संरक्षण के रूप में पेड़ को बचाने का संकल्प लिया है। गांव में लगभग 250 साल पुराने पीपल के वृक्ष की ग्राम पंचायत देवखल द्वारा पेड़ के आसपास सौन्दर्यीकरण कर गुरुवार को पूर्णिमा के अवसर पर पांच विद्वान पण्डितों के वैदिक मन्त्रोचारण के साथ पीपल के पेड़ की पूजा अर्चना की गयी।
प्रमुख जखोली प्रदीप थपलियाल भी हुए शामिल..
इस अवसर बतौर मुख्य अतिथि रुद्रप्रयाग क्षेत्र के प्रबुद्ध समाजसेवी क्षेत्र पंचायत प्रमुख जखोली. प्रदीप थपलियाल ने लोगों को पीपल के वृक्ष की धार्मिक, पौराणिक व ऐतिहासिक महत्व के बारे में जानकारी देते हुए कहा कि पीपल का वृक्ष हमें धार्मिक महत्व के साथ साथ पर्यावरण संरक्षण में भी विशेष सहयोगी होता है। उन्होंने ढाई सौ साल पुराने वृक्ष को विरासत वृक्ष के रूप सजाने व संवारने के लिए गांववासियों का आह्वान किया है। उन्होंने कहा कि ऐसे वृक्ष लोगों की स्मृतियों व बचपन की यादों के रूप में रहने के साथ साथ पर्यावरण संरक्षण व पर्यटन के पर्यटन के नक्शे पर स्थापित करने के लिए प्रयास होने चाहिए है।
इस अवसर पर प्रधान संगठन के जिलाध्यक्ष देवेन्द्र भण्डारी, आयोजक समिति के कुशलानन्द त्रिपाठी, चन्द्र प्रकाश त्रिपाठी, विपिन त्रिपाठी, सुनील त्रिपाठी, गणेश, गोविंद राम त्रिपाठी, विद्वान आचार्य पं संजय नौटियाल, देवी प्रसाद नौटियाल, वृजमोहन, सुरेन्द्र त्रिपाठी, कुशलानन्द पुरोहित, नरेश कुमार भट्ट, विश्वनाथ त्रिपाठी, अनिल बेंजवाल, पुरुषोत्तम पुरोहित, अल्का त्रिपाठी, प्रर्मिला त्रिपाठी आदि ग्रामीण मौजूद थे।