रिपोर्ट – सत्यपाल नेगी /रुद्रप्रयाग
रुद्रप्रयाग : जनपद रुद्रप्रयाग में हिमायली क्षेत्रों में बेमौसमी भारी बारिश,एंव हर साल मौसम परिवर्तन के कारण प्राकृतिक सुन्दर बुग्यालों में भू- कटाव,के साथ ही जंगलो व पर्यावरण को भी नुकसान झेलना पड़ रहा है,रुद्रप्रयाग वन विभाग बुग्यालों के संरक्षण के लिए नई पहल में जुटा है,वन प्रभाग जियो जूट तकनीकी से बढ़ते भू कटाव की समस्याओ से निपटने के साथ साथ बुग्यालों के संरक्षण के लिए भी गंभीरता से काम कर रहा है.ताकि भू कटाव से बुग्यालों की हरी भरी घास,मिट्टी को सुरक्षित बचाया जा सके.
रुद्रप्रयाग वन प्रभाग के युवा,दूरदर्शा सोच रखने वाले उप वन सरक्षक(डीएफओ)अभिमन्यु एंव उनकी टीम द्वारा पहाड़ो के प्राकृतिक सुन्दर हरे भरे पर्यावराणी बुग्यालों के संरक्षण के लिए निरंतर कार्य किये जा रहे है उन्होंने कहा कि ऊंचाई वाले क्षेत्रों के बुग्यालो में हो रहे भू कटाव को रोकने के लिए वन प्रभाग द्वारा जियो जूट विधि से बुग्यालों एंव जंगलो के संरक्षण व सुरक्षा के लिए जरूरी कदम उठाये जा रहे है,जियो जूट विधि से कई क्षेत्रों में कार्य किया गया है.
डीएफओ रुद्रप्रयाग अभिमन्यु ने जानकारी देते हुए कहा कि हिमायली क्षेत्रों के बुग्यालों के संरक्षण पर अभी तक 40 लाख लागत से पाँच स्थानों जिनमे दयारा बुग्याल,डमारगाड़,पदमखाल,धारकुड़ी,क्यूंनी,पंवाली कांठा,बुग्यालों पर भू कटाव को रोकने के लिए वन प्रभाग द्वारा जियो जूट तकनीकी से पिरूल भरकर,बांश के बम्बो के साथ चैकडेम व सुरक्षा दीवारे तैयार की गईं है.इससे भूमि कटाव पर रोक लगेगी,कई जगहों पर इस कार्य से बुग्यालों का संरक्षण भी हो रहा है.इसके सफल परिणाम भी सामने दिख रहे है,आने वाले समय में बुग्यालों में हो रहे भू कटाव की समस्याओं से निजात भी मिलेगी.