जोशीमठ। उरगम घाटी-जोशीमठ प्रखंड के मेंरग ग्राम पंचायत के स्तर पर प्राकृतिक संसाधनों के प्रबंधन एवं नियोजन के साथ अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस के अवसर पर महिलाओं को आत्मनिर्भर बनने पर चर्चा हुई। निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार सूक्ष्म नियोजन के माध्यम से गांव समाज एवं महिला बच्चों को ध्यान में रखते हुए पर्यावरण आधारित रोजगारपरक गतिविधियों को कैसे बढ़ावा दे सकते हैं। इस पर चर्चा की गई पंचायती वन के पारिस्थितिकीय आवश्यकताओं की पूर्ति के मध्यनजर आज का समुपयोजन एवं उपयोग की रणनीति को लेकर माइक्रो प्लान में आवश्यक अभ्यास प्रथम आम बैठक का आयोजन मेंरग गाँव में किया गया।
बैठक में अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस के अवसर पर सभी को शुभकामनाएं दी गई। अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस की शुरुआत किस तरह हुई सबसे पहले 1909 में एक समाजवादी राजनीतिक कार्यक्रम की रूप में यह आयोजन किया गया उसके बाद 1917 में सोवियत संघ द्वारा 8 मार्च को एक दिन को राष्ट्रीय अवकाश घोषित किया। यह जानकारी अन्य देशों तक फैली अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस एक मजदूर आंदोलन से बीजारोपण हुआ था। किरण वर्ष 1908 में 15000 महिलाओं ने न्यूयॉर्क शहर अमेरिका में एक विशाल मार्च निकाला और नौकरी में कम घंटों की मांग की थी इसके अलावा उनकी मांग थी कि उन्हें बेहतर वेतन दिया जाए मतदान का अधिकार दिया जाए। 1 वर्ष बाद अमेरिका की सोशलिस्ट पार्टी ऑफ अमेरिका ने इस दिन को पहला अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस घोषित किया।
राष्ट्रीय महिला दिवस की चर्चा के बाद सूक्ष्म नियोजन कैसे तैयार किया जाए इस पर चर्चा की गई इस बैठक में रिसोर्स एनजीओ के रूप में जय नंदा देवी स्वरोजगार शिक्षण संस्थान जनदेश के द्वारा प्रथम आम बैठक के बारे में जानकारी दी गई। वन पंचायत का परिचय वन पंचायतों में पाई जाने वाली वनस्पति वन्य जीव, आजीविका संसाधन एवं ईंधन मैट्रिक्स का विवरण, पंचायती वन वन पंचायत से जुड़े स्थानी समूह का विवरण, पंचायती वनों में घटित बन आपदा वन अपराध पर वनअग्नि दुर्घटना एवं मानव जीव संघर्ष की स्थिति, पंचायती वनों के उपयोग संरक्षण पंचायतों में किए गए विगत 5 वर्षों की कार्य एवं प्रबंधन व्यवस्था पंचायती तथा वन पंचायत में कीये जाने वाले आवश्यक कार्य के अलावा नियोजन प्रशिक्षण प्रचार प्रसार पर्यावरण सेवाओं से जुड़े हुए कार्य, पारिस्थितिकीय अनुरूप आय परख गतिविधियां, पंचायती वनों का विकास प्राकृतिक पुनर उत्पादन वाणिज्य उपयोग बाजार का विकास, वनीकरण, महिला नर्सरी के कार्य जल संरक्षण भूमि संरक्षण, जल स्रोतों का जीर्णोद्धार अग्नि सुरक्षा प्रकृति पर्यटन विकास, मानव जीवन संघर्ष रोकथाम के उपाय वन पंचायत में पारिस्थितिकीय रूप आय वर्धन कार्यक्रम फल पौध वितरण जड़ी.बूटी विकास ट्रेकरूट मार्गों के विकास के लिए योजना बना सकते हैं।
उत्तराखंड वन विभाग के द्वारा इस योजना को एक पायलट प्रोजेक्ट के रूप में शुरू की जा रही है प्रथम चरण में नंदा देवी राष्ट्रीय पार्क जोशीमठ के माध्यम से पांच वन पंचायत में प्रारंभ की जा रही है। इस कार्यक्रम में तीन मुख्य आम बैठकों का आयोजन किया जाना है। प्रथम बैठक में आम ग्रामीण महिला पुरुषों को योजना की जानकारी एवं डाटा संकलन किया जाना है। द्वितीय बैठक में प्रस्तावित कार्य योजना बनाई जाए जाने हैं। साथी सभी लाभार्थी समूह से बात की जाने उसके बाद अंतिम बैठक में कार्य योजना को मूर्त रूप दिया जाना है। इस कार्यक्रम में नंदा देवी राष्ट्रीय पार्क के वन बीट अधिकारी केदार दत्त पुरोहित जनदेश सचिव लक्ष्मण सिंह नेगी वरिष्ठ कार्यकर्ता प्रशिक्षक रघुवीर सिंह चौहान वन पंचायत सरपंच अंजना देवी खत्री आदि लोग उपस्थित थे। लक्ष्मण सिंह नेगी की रिपोर्ट