फोटो-वन पंचायत सरपंच जोशीमठ में पुतला जलाते हुए वन मंत्री एवं विधायक बद्रीनाथ का
फूलों की घाटी राष्ट्रीय पार्क विश्व धरोहर के नंदा देवी राष्ट्रीय पार्क में हुई वानिकी व विभागीय विकास एवं विभागीय कार्यों में हो रही धांधली के संबंध में वन पंचायत सरपंचों ने मोर्चा खोल दिया है। सरपंच जोशीमठ में तहसीलदार परिसर में 3 दिनों से धरना दे रहे हैं।
वन पंचायत सरपंचों ने कल जोशीमठ में विधायक महेंद्र प्रसाद भट्ट एवं रुद्रप्रयाग के वन मंत्री हरक सिंह रावत सिंह रावत के पुतले दहन कर उप जिलाधिकारी जोशीमठ के माध्यम से मुख्यमंत्री उत्तराखंड को ज्ञापन प्रेषित किया। मुख्यमंत्री उत्तराखंड को भेजे गए ज्ञापन में सरपंच संघ जोशीमठ ने मांग की है कि वन विभाग के द्वारा ठेकेदारी प्रथा में किए जा रहे कार्यों की गुणवत्ता ठीक नहीं है और 60 प्रतिशत से अधिक कमीशन विभाग द्वारा लिया जा रहा है।
ठेकेदार मनमानी कर रहे हैं। ग्रामीणों को रोजगार नहीं मिला। इस कारण सभी पंचायतों में वन पंचायत सरपंच के माध्यम से विभागीय कार्य संचालित किए जाएं। उत्तराखंड सरकार के द्वारा ट्रैकिंग अभियान संचालन किया जा रहा है। ट्रैकिंग वाले स्थानों में बाहरी लोगों के द्वारा सीधा नेपालियों एवं वाहरी कंपनियों से काम कराए जा रहे हैं। जिससे स्थानीय लोगों को रोजगार नहीं मिल पा रहा है। वन पंचायत सरपंच संघ ने कहा की सरपंचों को भी त्रिस्तरीय पंचायतों की तरह मानदेय की व्यवस्था हो। ग्रामीण क्षेत्रों में प्राकृतिक संसाधनों के प्रबंधन के लिए सरपंच की अहम भूमिका होती है।
साथी ग्रामीण क्षेत्रों में भालू एवं गुलदार के द्वारा पशुओं को मारे जाने पर मुवाजा की राशि बहुत कम है। इसको बढ़ाए जाने की मांग की गई वन पंचायत सरपंच संघ के पूर्व बीडीसी मेंबर संग्राम सिंह ने कहा कि वन विभाग के द्वारा संचालित योजनाओं में सबसे अधिक धांधली होती है। इस धांधली को कम करने के लिए एकमात्र उपाय है कि वन पंचायतों के माध्यम से वन विभाग के कार्यों को संचालित किया जाए। मनमानी रूप से कार्य किए जा रहे हैं। कई जगहों पर कार्य हुए ही नहीं हैं, उनके भुगतान कर दिए गए हैं। उन्होंने कहा कि वन विभाग की कार्यप्रणाली संदेह के घेरे में है। सुखी भल्ला गांव के प्रधान लक्ष्मण सिंह बुटोला ने कहा कि वन विभाग की ठेकेदारी प्रथा के कारण ग्रामीणों को रोजगार नहीं मिल पा रहा है। नेपाली एवं बाहरी लोगों को रोजगार दिया जा रहा है। ग्रामीणों में भारी आक्रोश है ज्ञापन देने वालों में धर्मेंद्र सिंह राणा लाता सरपंच गब्बर सिंह पंवार, लॉन्ग सरपंच रघुवीर सिंह सुखी सरपंच, संग्राम सिंह जुग्जू सरपंच सहित कई गणमान्य लोग।
लक्ष्मण सिंह नेगी की रिपोर्ट