कैलास मानसरोवर मार्ग पर भारत के आंखिरी गांव गुंजी जो भारत-चीन व्यापार की भारतीय मंडी भी है, कई समस्याओं से जूझ रही है। काली नदी पर बना पुराना पुल टूट गया है। नदी पार गुंजी निवासियों के मंदिर और खेत हैं, खेत बंजर पड़े हैं, मंदिर में जाने का पुल टूट गया है। प्रधान सुरेंद्र गुज्याल ने पुल निर्माण की मांग की है।
गुंजी के प्रधान सुरेंद्र गुंज्याल ने गुंजी से भेजे वीडियो के माध्यम से बताया है कि काली नदी उफान पर हैं। काली के पार गुंजी के लोगों के अराध्य का मंदिर है, साथ ही वहां ग्रामीणों के बहुत सारे खेत हैं। भारत-नेपाल विवाद के बाद ग्रामीणों को अपने खेतों को आबाद करना मुश्किल हो गया है। पुल टूटने की वजह से लोगों ने नदी पर एक पेड़ डालकर अस्थायी पुल बनाने की कोशिश की है, जो पानी बढ़ने से कभी बह जाता है।
नदी पार जहां गुंजी के लोगों के खेत और मंदिर हैं, जो राजस्व विभाग में भी दर्ज हैं, भारत नेपाल विवाद के बाद वह पूरी तरह से बंजर हो गए हैं। अब यदि लोग मंदिर या अपने खेतों की तरफ जाते हैं तो उनसे अनुमति पत्र दिखाने का कहा जाता है।
गुंजी कैलास मानसरोवर मार्ग पर स्थित है और भारत चीन व्यापार के लिए भारत की आंखिरी मंडी भी है। लेकिन यह सीमांत गांव कई तरह की दिक्कतों से जूझ रहा है। इसकी तरफ ध्यान देने की कोशिश तक नहीं की जा रही है। ग्रामीण क्षेत्रों की समस्याओं का समाधान न होने की वजह से लोग पलायन करने को मजबूर हैं।