रिपोर्ट:कमल बिष्ट
कोटद्वार। सेन्ट थॉमस स्कूल के क्रिसमस डे कार्यक्रम में अभिभावकों, विशेषकर बुजुर्ग अभिभावकों को आमंत्रित किया गया था आयोजित कार्यक्रम में वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक जनपद पौड़ी श्वेता चौबे ने बतौर मुख्य अतिथि के रूप में प्रतिभाग किया। कार्यक्रम के शुभारंभ पर सेन्ट थॉमस स्कूल के मैनेजर, प्रधानाचार्य एवं स्कूल स्टॉफ द्वारा सर्वप्रथम मुख्य अतिथि को पुष्पगुच्छ भेंट कर अभिवादन किया गया। तत्पश्चात कार्यक्रम का शुभारंभ किया गया।कार्यक्रम के दौरान सर्वप्रथम मुख्य अतिथि द्वारा बताया गया कि आजकल देखने में आ रहा है कि हम सभी लोग एकल परिवार को महत्व देकर अपने आपको संयुक्त परिवार से दूर करते जा रहे है जिससे हम अपने माता-पिता, दादा-दादी, नाना-नानी आदि बुजुर्गों को भुलाते जा रहे है। ज्वाइन्ट फैमिली में बच्चे अनुशासन और संस्कार बुजुर्गों से ही सीखते हैं। जहां पर बच्चे अपने माता-पिता को बड़े बुजुर्गों का सम्मान और आदर करते हुए देखते हैं, तो उनके अंदर भी अपने से बड़ों का सम्मान और इज्जत करने की भावना जागृत होती है। बच्चे अक्सर बुजुर्गों से ही कहानियां सुना करते हैं और बुजुर्गों से ही बच्चों को अच्छे संस्कार मिलते हैं। बच्चों के अंदर मिल बांट कर खाने की भावनाओं को बुजुर्ग विकसित करते हैं। बुजुर्गों का जीवन अनुभवों से भरा पड़ा है, उन्होंने अपने जीवन में कई उतार-चढ़ाव देखे हैं जितना उनके अनुभवों का लाभ मिल सके हमें लेना चाहिए। गृह-कार्य संचालन में मितव्ययिता रखना, खान-पान संबंधित वस्तुओं का भंडारण, उन्हें अपव्यय से रोकना आदि के संबंध में उनके अनुभवों को जीवन में अपनाना चाहिए जिससे वे खुश होते हैं और अपना सम्मान समझते हैं।हमारे बड़े बुज़ुर्ग हमारा स्वाभिमान हैं, हमारी धरोहर हैं। उन्हें सहेजने की जरूरत है। यदि हम परिवार में स्थायी सुख, शांति और समृध्दि चाहते हैं तो परिवार में बुजुर्गों का सम्मान करना चाहिये। बुजुर्ग लोग ज्यादा समझदार एवं अनुभवी होते है वह हमे जीवन जीना सिखाते है हमें उनका आदर करना चाहिये और उनकी मदद करने के साथ-साथ देखभाल भी करनी चाहिये।बुजुर्ग व युवा दोनों पीढ़ी इस कार्यक्रम में एक साथ मौजूद है अतः समाज में वर्तमान की महत्वपूर्ण चुनौती बढ़ते नशे की प्रवृत्ति व साइबर अपराधों के बारे में भी जागरूक किया गया।पुलिस अधीक्षक द्वारा वर्तमान में बढ़ते नशे की प्रवृत्ति के दृष्टिगत बताया कि युवा हमारे देश का भविष्य हैं युवा पीढ़ी ही यदि गलत रास्ते पर चले जाये तो नुकसान केवल युवा पीढ़ी का ही नहीं होता बल्कि देश का भी नुकसान होता है। आजकल युवा पीढ़ी नशे के राह पर जा रही है इससे न केवल उस व्यक्ति का भविष्य और जीवन खराब हो रहा है बल्कि उसके परिवार की जिन्दगी भी खराब हो जाती है। नशा वर्तमान में हमारे समाज के लिये बहुत गम्भीर समस्या बन चुका है और युवा पीढ़ी आसानी से इस ओर अग्रसर हो रही है। नशे की लत अगर किसी व्यक्ति को लग जाती है तो वह चाहकर भी नशे के दलदल से बाहर नही निकल पाता है उसे शारिरिक व मानसिक क्षति तो होती ही है साथ में धन की क्षति भी होती है। आजकल युवा वर्ग नशे को अपनी शान समझ रहा है वह शराब, तंबाकू, गुटखा आदि ही नहीं बल्कि चरस स्मैक और हेरोइन जैसे नशीले पदार्थों का सेवन कर रहा है। इनके सेवन से युवाओं की मानसिक स्थिति बिगड़ती जा रही है। नशे के लिये युवा चोरी डकैती मर्डर जैसे जघन्य अपराध भी कर रहे है जिससे उनका जीवन बर्बाद हो रहा है। कई युवा सहन शक्ति की कमी होने से अपना होसला खो देते है जिससे वह डिप्रेशन में चले जाते हैं और फिर नशे का सेवन करते हैं और कभी-कभी आत्महत्या जैसा कदम उठा देते है। युवाओं को नशे से दूर रहने के लिये गेम्स, फिजिकल एक्टिविटी में INVOLVE होना चाहिये। अगर कोई युवा नशा करता है तो उसकी काउंसलिंग करनी चाहिये आसपास नशे का व्यापार करने वालों की सूचना पुलिस को तुरन्त देनी चाहिये इसमें सूचना देने वालों का नाम भी गुप्त रखा जाता है।आजकल देश में साइबर अपराध सबसे तेजी से बढ़ रहा है साइबर अपराधी लगातार अपग्रेड हो रहे है लोगों को ठगने के नये नये पैतरे अपना रहे है लेकिन तेजी से बढ़ते इन मामलों को आपकी जरा सी सावधानी कम कर सकती है। आज कल युवाओं द्वारा सोशल साइट्स का ज्यादा प्रयोग किया जाता है लेकिन युवाओं द्वारा सोशल साइट्स का दुरूपयोग ज्यादा किया जा रहा है। ऑनलाइन गेम्स खेलकर व साइबर हैंकरों के चंगुल में फंस रहे है जिससे साइबर हैकर उन्हें ब्लैकमेल कर पैसों की मांग कर रहे है व उन्हें अनवांटेड टास्क भी दे रहे हैं। इसके अलावा साइबर हैकर व स्टैकर द्वारा फेक आईडी बनाकर व आई डी हैक करके ब्लैकमेल किया जा रहा है।अगर किसी के साथ ब्लैकमेल जैसी घटना घटित होती है तो बिल्कुल न घबराये इसकी सूचना तत्काल परिजनों एवं पुलिस को देने हेतु प्रेरित किया गया।