फोटो–ऊफनदी कल्पगंगा को पार करते ग्रामीण, यह सिलसिला आपदा के बाद से ही चल रहा है।
प्रकाश कपरूवाण
जोशीमठ। हेलंग-उर्गम मोटर मार्ग से पिलखी, भेंटा आदि गाॅवों को जोडने वाला पैदल पुल 6 वर्षो मंे भी नही बन सका। ग्रामीणों को जान जोखिम में डालकर ऊफनती कल्पगंगा को पार कर किसी तरह अपने गाॅवों मे पंहुचना पड रहा है। कार्यदायी संस्था लोनिवि का कहना है कि जून माह तक पुल तैयार कर लिया जाऐगा।
वर्ष 2013 की आपदा मे हेलंग-उर्गम मोटर मार्ग के खवाला नामक स्थान पर कल्पगंगा मे बना पैदल पुल आपदा की भेंट चढ गया था। वर्ष 2013से लगातार मांग करने के बाद वर्ष 2014मे बीएडीपी से दो करोड की धनराशि पुल निर्माण के लिए स्वीकृत करते हुए लोनिवि को पुल निर्माण का जिम्मा दिया गया। लेकिन पाॅच वर्ष पूरे होने को है लोनिवि पुल नही बना सका।
पुल निर्माण नही होने के कारण वर्षात मे पिलखी, भेंटा, अरोसी आदि गाॅवों के ग्रामीणों को उर्गम से भर्की होते हुए करीब 15किमी0की दूरी तय कर अपने गाॅवों मे पंहुचना पडता है। इन दिनो भी दोपहर से पहले यदि नदी को पार कर दिया तो ग्रामीण तय समय पर अपने गाॅवों मे पंहुच जाते है। लेकिन यदि दोपहर बाद उक्त स्थान पर पंहुचते है तो पानी को इतना तेज बहाव होता है कि ग्रामीण नदी पार नही कर सकते। इन सभी समस्याओ को लेकर ग्राम पंचायत भेंटा के ग्रामीण वर्षो से आंदेालनरत है। ग्रामीणों के आंदोलन के बाद पुल निर्माण का कार्य तो शुरू हुआ और दोनो ओर के एवडमेट-पाये भी तैयार हो चुके है। लेकिन पुल नही जोडा जा सका।
भेंटा के प्रधान लक्ष्मण ंिसह नेगी व अन्य ग्रामीणों ने एसडीएम के माध्यम से सीएम को ज्ञापन भेजकर कहा है कि यदि लोनिवि द्वारा यथाशीध्र पुल का निर्माण नही किया गया तो ग्रामीणों को त्रिस्तरीय पंचायत चुनावो के बहिष्कार के साथ आगामी दस मई को राष्ट्रीय राजमार्ग हेलंग मे चक्का जाम के लिए विवश होना पडेगा। इसी ज्ञापन मे यह भी मांग की गई है कि सलना से भेंटा-भर्की चक उर्गम ’’गीरा-बाॅसा तक प्रधानमंत्री ग्राम संडक योजना से स्वीकृत मोटर मार्ग पर यथा समय उचित कार्यवाही करने की मंाग की गई है।
ज्ञापन पर प्रधान संगठन के अध्यक्ष लक्ष्मण नेगी के अलावा भंेटा के संरपंच गुडबीर सिंह चैहान, व हर्षबर्धन फरस्वांण आदि के हस्ताक्षर है।
संपर्क करने पर लोनिवि के ईई डीएस रावत ने बताया कि उक्त स्थान पर दोनो और एवडमेंट तैयार हो गए है। पुल के गार्डर व अन्य सामग्री साडड पर मौजूद है और पुल जोडने वाली टीम भी पंहुच गई है। अगले एक-दो दिनो मे पुल जोडने का काम शुरू हो जाऐगा। उन्होने कहा कि जून माह के अंत तक पुल जोडकर तैयार कर लिया जाऐगा। श्री रावत ने यह भी जानकारी दी कि उक्त पुल निर्माण के लिए बीएडीपी द्वारा दो करोड की राशि अवश्य स्वीकृत हुई थी लेकिन एक करोड चालीन लाख ही अवमुक्त हुए। अब शेष 60लाख की धनराशि की ब्यवयस्था जिला योजना के माध्यम से की जानी है।