फोटो- ब्रहमलीन दण्डी स्वामी इंन्दुस्वरूप जी महाराज।
कपरूवाण
जोशीमठ। दण्डी स्वामी इन्दुस्वरूप जी महाराज को निधन हो गया।
ज्योतिष्पीठ के ब्रहमलीन शंकराचार्य स्वामी माधवाश्रम जी महाराज के अनन्य शिष्य दण्डी स्वामी इंन्दुस्वरूप जी महाराज का दिल्ली मंे कोरोना से निधन हो गया है। उनके निधन के समाचार मिलते ही स्वामी माधवाश्रम महाराज के अनुयायियों में शोक की लहर है। हरिद्वार कंुभ से लौटने के बाद उनके स्वास्थ्य मंे गिरावट आई और वे बृहस्पतिबार को शंकराचार्य मार्ग सिविल लाइन्स दिल्ली मंे ब्रहमलीन हो गए।
इन्दुस्वरूप जी महाराज ब्रहमलीन शंकराचार्य स्वामी माधवाश्रम जी महाराज के साथ बाल्यकाल से सेवारत थे। वर्ष 1993 में स्वामी माधवाश्रम महाराज के ज्योतिष्पीठ के शंकराचार्य के रूप अभिषिक्त होने के बाद इन्दुस्वरूप जी महाराज तब से निरंन्तर जोशीमठ में ही प्रवास करते थे। मिलनसार प्रवृति के इंन्दुस्वरूप महाराज ने ज्योतिष्पीठ श्री मठस्थली के नव निर्माण व महाराज श्री के नाम से विद्यालय खोलने मंे भी अहम भूमिका निभाई। वे कई वर्षो तक स्वामी माधवाश्रम केन्द्रीय विद्या निकेतन हाईस्कूल के प्रबंन्धक भी रहे। वर्ष 2016 मंे शंकराचार्य स्वामी माधवाश्रम जी महाराज ने उन्हें कोटेश्वर-रूद्रप्रयाग में संन्यास की दीक्षा देते हुए दण्ड धारण करने की अनुममि दी। तब से वे दिल्ली आश्रम के साथ ही महाराज श्री द्वारा दिल्ली व आस-पास स्थापित संस्कृत विद्यालयों की देख रेख भी करते थे। उनके आकस्मिक निधन पर ब्रहमलीन शंकराचार्य स्वामी माधवाश्रम महाराज के भक्तांे व अनुयायियों ने गहरा शोक ब्यक्त किया है।
उनके निधन पर शोक ब्यक्त करने वालो मे कोटेश्वर महादेव के श्रीमहन्त शिवानन्द गिरी जी महाराज, ज्योतिष्पीठ-श्रीमठस्थली के बर्तमान प्रबन्धक आशीष ब्रहमचारी जी महाराज, उत्तराखंड सरकार मे दायित्व धारी राज्यमंत्री रामकृष्ण ंिसहं रावत, शंभ्भू प्रसाद नंबूरी, शंकराचार्य स्वामी माधवाश्रम विद्या निकेतने के प्रधानाचार्य सुरेन्द्र सिह खत्री, बरिष्ठ अध्यापक महाबीर सिंह फरस्वांण, संस्कृत महाविद्यालय के प्रभारी प्रधानाचार्य अरविन्द प्रकाश पन्त,चारधाम तीर्थपुरोहित महापंचायत के महामंत्री हरीश डिमरी, पंडित जानकी प्रसाद बहुगुणा, प्रदीप डिमरी, हर्षबर्धन भटट, ब्यापार संघ के पूर्व तहसील अध्यक्ष श्रीराम डिमरी,हरीश भटट, दिनेश नंबूरी,दिनेश जैन, राजेश कुमार,विश्व हिन्दु परिषद के विभाग अध्यक्ष देवी प्रसाद देवली सहित अनेक लोग शामिल है।












