अल्मोड़ा। सामाजिक, राजनैतिक चिंतक, संस्कृति कर्मी व रचनाकार कौशल पंत का 65 वर्ष की आयु में निधन हो गया है। वह बीते कुछ समय से पीलिया रोग से बीमार चल रहे थे और दिल्ली में उनका उपचार चल रहा था।
उपचार कराने के बाद वे अपने सरकार की आली स्थित आवास में आ गये, जहां उन्होंने अंतिम सांस ली। बुधवार को विश्वनाथ स्थित शमशान घाट में उनकी अंत्येष्टि की गई। उल्लेखनीय है कि कौशल पंत वृद्धावस्था में भी जीवटता के धनी थे। विभिन्न राजनैतिक मुद्दों पर वह बड़ी बेबाकी से अपनी बात रखते थे। जीवन के अंतिम पड़ाव पर पहुंचने तक भी उनकी रचनाधर्मिता बनी रही। उनकी कई पुस्तकें भी प्रकाशित हुई। विभिन्न समाचार पत्रों में भी उनके लेख प्रकाशित होते रहे हैं। कौशल पंत शहर के हर प्रमुख कार्यक्रमों व सम्मेलनों में अपनी उपस्थिति दिया करते थे। राज्य आंदोलन में भी उन्होंने सक्रिय योगदान दिया और जेल यात्रा भी की। इसके बावजूद उन्हें कभी राज्य आंदोलनकारी का दर्जा नहीं मिल सका। जिस कारण वह अकसर व्यथित रहते थे। उनके निधन से हर तरफ शोक की लहर है।