हरेंद्र बिष्ट।
भराड़ीसैंण। लैंसडाउन के विधायक दलीप सिंह रावत ने उत्तराखंड में बाघों एवं गुलदारों के बढ़ते हमलों को लेकर अपनी ही केंद्र एवं राज्य सरकार को कटघरे में खड़ा कर दिया। इस मामलों को लेकर वे बकायदा हाथ में तख्तियां ले कर विधानसभा भवन के बहार खड़े हो गए और इन खतरनाक जानवरों से आम लोगों को बचाने के लिए सरकारों से गुहार लगाते रहे। मानसून सत्र के दूसरे दिन अचानक जब विधायक दलीप सिंह रावत हाथों में तख्तियां लेकर विधानसभा भवन के बहार खड़े हुए तो मीडिया कर्मियों के साथ ही सत्ता पक्ष में भी अचानक खलबली मच गई।
भवन की लौबी में गुलदारों से पहाड़ बचाएं, वन नीति के लिए एक दिन का विधानसभा का विशेष सत्र बुलाने की मांग को तख्तियां पर लिख कर विधायक के पास जब मीडिया पहुंची तो उन्होंने कहा कि पहाड़ में लगातार बाघों एवं गुलदारों के आक्रमण बढ़ता जा रहा है। जिससे आम जनमानस में भय का माहौल बना हुआ हैं। उन्होंने राज्य सरकार से वन नीति पर चर्चा के लिए विधानसभा का एक दिवसीय विशेष सत्र बुलाने की मांग की। इसके साथ ही उन्होंने राज्य सरकार से इस मामले में केंद्र सरकार से गंभीरता से वार्ता करने की भी मांग उठाई। विधायक ने राज्य सरकार से वन जीवों के हमलों की मुवावजा राशि को बढ़ाने की भी मांग की।इस दौरान उन्होंने कहा कि गरीब एवं भूमि हीनों के तो घरों को अवैध कब्जा बता कर उजाड़ा जा रहा है, जबकि राज्य भर में भूमाफियाओं ने कई हैक्टियर भूमि पर कब्जा किया हुआ हैं, और उसके द्वारा किया जा रहा है।जिस पर रोक लगा बेहद जरूरी है।